Kabhi Shaam Dhale Lyrics - Siddharth Gupta | Divya Kalia | Mohammad Faiz
2023 VYRL Originals
About this song
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Lyrics
हो हो हो…
कà¤à¥€ शाम ढले तो
मेरे दिल में आ जाना
ओ लगे ग़म गले तो
मेरे दिल में आ जाना
मेरा घर जलाने वाले सà¥à¤¨ मेरी
ओ तेरा घर जले
तो मेरे दिल में आ जाना
मगर आना इस तरह से के
फिर लौट के न जाना
ओ कà¤à¥€ शाम ढले तो
मेरे दिल में आ जाना
ओ लगे ग़म गले तो मेरे
दिल में आ जाना
ओ मेरा घर जलाने वाले सà¥à¤¨ मेरी
ओ तेरा घर जले तो
मेरे दिल में आ जाना
मगर आना इस तरह से के
फिर लौट के न जाना
हो हो हो…
जब तेरे अपने à¤à¥€
तà¥à¤à¥‡ छोड़ के जाà¤à¤‚गे
और पानी में मिला के
ज़हर पिलाà¤à¤‚गे
ओ जब तेरे अपने à¤à¥€
तà¥à¤à¥‡ छोड़ के जाà¤à¤‚गे
और पानी में मिला के
तà¥à¤à¥‡ ज़हर पिलाà¤à¤‚गे
वही हाथ काटेंगे तेरे
जो हाथ मिलाà¤à¤‚गे
जिनà¥à¤¹à¥‡à¤‚ जान जान कहते हो
वही जान ले जाà¤à¤‚गे
कौन अपना है तेरा कौन पराया
ओ ये न पता चले तो
मेरे दिल में आ जाना
मगर आना इस तरह से
के फिर लौट के न जाना
ओ कà¤à¥€ शाम ढले तो
मेरे दिल में आ जाना
ओ लगे ग़म गले तो
मेरे दिल में आ जाना
ओ मेरा घर जलाने वाले सà¥à¤¨ मेरी
ओ तेरा घर जले तो
मेरे दिल में आ जाना
मगर आना इस तरह से के
फिर लौट के न जाना
आ आ आ…
गीतकार:
Jaani, Nida Fazli